भारत रत्न स्वर कोकिला लता मंगेशकर के निधन पर उत्तराखंड में भी दो दिन का राजकीय शोक रहेगा। सचिव सामान्य प्रशासन विनोद कुमार सुमन की ओर से रविवार को दो दिन के राजकीय शोक का आदेश जारी किया। केंद्र सरकार ने भी दो दिन के राजकीय शोक की घोषणा की है। राज्य में दो दिन सरकारी कार्यालयों में राष्ट्रीय ध्वज आधे झुके रहेंगे। इस दौरान किसी भी तरह के कोई सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित नहीं होंगे।
भारत रत्न, स्वर कोकिला लता मंगेशकर के निधन पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी समेत सभी प्रमुख नेताओं ने श्रद्धांजलि दी। उनके निधन को समूचे राष्ट्र का नुकसान बताया। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि लता दीदी का निधन देश के लिए अपूरणीय क्षति है। कौन भूल सकता है, जब 1962 की लड़ाई की हार से निराश, देशवासियों में लता दीदी के कण्ठ से निकले ‘ऐ मेरे वतन के लोगों’ गीत ने नया जोश भरने का काम किया था। देश की सेना के लिए उनके गाए वन्दे मातरम व अनेकों देशभक्ति के गीत देश पर मर मिटने की प्रेरणा देते रहे।
आज निधन से सुरों के एक युग का अंत हुआ है। अपने स्वरों से भारतीय संगीत को समृद्ध बनाया है। उनके गीतों ने भारतीय जनमानस में देश भक्ति, भावुकता, संवेदनशीलता का सकारात्मकता का संचार किया है। उनके गीत आने वाली पीढ़ियों को प्रेरित करते रहेगे। अपने गीत, संगीत से कला प्रेमियों के साथ आम भारतीय जनमानस के हृदय में हमेशा अमर रहेंगी। मैं भगवान से प्रार्थना करता हूं कि प्रभू उन्हें अपने चरणों पर स्थान दे। देश ही नहीं विश्व भर में मौजूद उनके करोड़ों शुभचिंतकों को इस दर्द को सहने की शक्ति प्रदान करें।
स्वर कोकिला जिन्होंने अपने कंठ स्वर से करोड़ों करोड़ों लोगों को वर्षों तक मुग्ध किया। एक अद्भुत व्यक्तित्व की धनी रहीं। आज जब भारत रत्न लता जी नहीं रही हैं, तो हर भारतवासी की आंखों में आज पानी भर आया है। दुनिया के अंदर न जाने ऐसे करोड़ों लोग हैं, जिन्होंने उनके कंठ स्वर को आनंदित होकर सुना है। उन सबकी आंखें इस समय नम हैं। आंखों में पानी भरा हुआ है। मैं भी बहुत दुख भरे शब्दों में उनको अपने श्रद्धासुमन अर्पित कर रहा हूं।
मदन कौशिक, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष
लता जी का जाना भारतवर्ष के लिए अपूर्ण क्षति है। भारत रत्न से सम्मानित स्वर कोकिला लता मंगेशकर ने हजारों गीत गाए। देश में अपनी अलग पहचान बनाई। उनका निधन गीत और संगीत जगत के लिए अपूरणीय क्षति है l उनके निधन पर श्रद्धासुमन अर्पित करता हूँ।